किया तपहिं भागीरथ भारी। पुरब प्रतिज्ञा तसु पुरारी॥ सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और साफ कपड़े पहनें। त्रिपुरासुर सन युद्ध मचाई। सबहिं कृपा कर लीन बचाई॥ अस्तुति केहि विधि करैं तुम्हारी। क्षमहु नाथ अब चूक हमारी॥ दानिन महं तुम सम कोउ नाहीं। सेवक स्तुति करत सदाहीं॥ भजन: शिव शंकर को https://shivchalisalyricsinhindip00234.ourabilitywiki.com/9432365/5_essential_elements_for_shiv_chalisa_lyrics_in_hindi_pdf_download